मंगलवार, जनवरी 05, 2016

नमन है उस शहादत को...

ये सत्य है
जो आया है
उसे जाना भी है,
मौत निश्चित है सब की।
कुछ तो
दोड़ देते हैं दम
बिसतर पर ही,
किसी को पता भी नहीं चलता।
कोई मरता है
गले में लगा कर फंदा
जिस की मौत पर
केवल चर्चा होती है।
एक घटोत्कच  की तरह
देश की लिये शहीद होता है
जो मरते हुए भी
हजारों को मारता है।
नमन हैं
उस शहादत को
जो अपनी अल्प आयु देकर
सब को लंबी आयु देते हैं...
 

1 टिप्पणी:

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